स्थापना वर्ष 1989 जुलाई में हुआ । 16 छात्र संख्या से प्रारंभ होकर इस महाविद्यालय की वर्तमान नियमित छात्र संख्या 634 है । वर्तमान में यह महाविद्यालय मुंगेली जिले का एक ऐसा महत्वपूर्ण महाविद्यालय है जहां समाजशास्त्र एवं हिन्दी विषय में पी.एच.डी. करने हेतु अनुसंधान एवं शोध केन्द्र स्थापित है । महाविद्यालय में अध्ययनरत छात्र-छात्राओं में खेलकूद एवं अन्य प्रतियोगिताओं में प्रतिनिधित्व करते हुए विश्वविद्यालय एवं महाविद्यालय का नाम रोशन किया है । महाविद्यालय अंचल के दूरस्थ ग्रामों से अनुसूचित जाति, जनजाति और पिछड़ा वर्गो तक ज्ञान व शिक्षा के प्रचार-प्रसार हेतु उच्च शिक्षा के क्षेत्र में कार्यरत है । यह महाविद्यालय समाज के अनेक प्रतिष्ठित, गणमान्य एवं उच्च पदस्थ विद्यार्थियों के अध्ययन का केन्द्र रहा है । महाविद्यालय में पाठ्यक्रम की शिक्षा के अतिरिक्त रोजगारोन्मुखी एवं समाजोपयोगी शिक्षा पर भी ध्यान दिया जाता है । महाविद्यालय प्रबंधन को स्थानीय एवं क्षेत्रीय जनप्रतिनिधियों का सहयोग एवं मार्गदर्शन निरंतर प्राप्त होता रहा है । जिसके फलस्वरूप ही महाविद्यालय नवनिर्मित भवन में समस्त संसाधनों के साथ उत्तरोत्तर शैक्षणिक विकास की ओर अग्रसर होगा, ऐसी आशा है …
यह महाविद्यालय मुंगेली जिले का एक महत्वपूर्ण बड़ा महाविद्यालय है । स्थापना काल से ही यह महाविद्यालय उत्कृष्ट शिक्षा प्रदान करने हेतु प्रयत्नशील है । इसे यू.जी.सी. नई दिल्ली, छत्तीसगढ़ शासन एवं अटल बिहारी वाजपेयी विश्वविद्यालय द्वारा मान्यता प्राप्त है ।
महाविद्यालय में विज्ञान के बायो समूह एवं वाणित्य में स्नातक कला समूह के 6 विषयों सहित
वर्ष 2023-24 से वाणिज्य एवं भूगोल विषय पर स्नातकोत्तर कक्षाएं जनभागीदारी से संचालित है। सत्र 2015-16 में समाजशास्त्र, हिन्दी साहित्य एवं 2023-24 से राजनीति शास्त्र में शोध केन्द्र की मान्यता प्राप्त हुई है । महाविद्यालय में अध्ययन की बेहतर बुनियादी सुविधाओं, व्याख्यान कक्ष, प्रयोगशालायें, शिक्षक सहयोगी स्टॉफ, ग्रंथालय, एन.एस.एस. रेडक्रॉस सोसायटी, खेल सुविधायें, महाविद्यालय में संचालित पाठ्यक्रमों की गुणवत्ता, उत्कृष्ट परीक्षा परिणाम, छात्रों की उपलब्धियाँ, सांस्कृतिक गतिविधियाँ, आकर्षण के केन्द्र है ।
विगत सत्र में महाविद्यालय के छात्रों की शतरंज एवं तीरंदाजी में अन्तर महाविद्यालयीन, अन्तर विश्वविद्यालयीन एवं राष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिता में सहभागिता रही है जिससे महाविद्यालय प्रतिष्ठित हुआ है ।
महाविद्यालय में परंपरागत पढ़ाई के साथ-साथ अन्य रोजगारोन्मुखी पाठ्यक्रम तथा कौशल विकास योजना के विभिन्न पाठ्यक्रमों का संचालन प्रारंभ करने का प्रयास किया जा रहा है ।
डॉ. श्रीमति अंजलि शर्मा
प्राचार्य
Graduate and Post Graduate Courses
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Veerangna Avantibai Lodhi College, pathariya, Dist. Mungeli, Chhattisgarh